बुधवार, 16 अप्रैल 2014

बूम चीक बूम चीक

  बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे
गाड़ी दौड़ी जाए रे
     बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे 


गाँवों  को ज़ोडे शहरों से
शहरों को नगरों से जोड़े रे
भेद-भाव नही इसके मन मे 
सबको साथ ले जाए रे 
बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे 


हर स्टेशन प रुकती जाए
मंज़िल तक पहुँचाए रे 
हरा रंग का सिग्नल देखे 
सरपट भागी जाए रे 
बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे


घाटी पर्वत नदियाँ झरने 
सबको ये दिखलाए रे
सिटी बजाए शोर मचाए
गाड़ी भागी जाए रे 
    बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे


              काला -गोरा मोटा -पतला             
सबको ये बैठाए रे
बच्चों के मन को भाए
नानी घर ले जाए रे
बूम चीक बूम चीक बूम चीक रे।                                                          








































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